पुण्यश्लोका देवी अहिल्याबाई होल्कर त्रिशताब्दी समारोह, हर्षोल्लास के साथ मनाया गया।*

संवाददाता/ अरुण पांडेय (गुरु जी) दैनिक समाज जागरण

सोनभद्र। शनिवार को नगर स्थित स्वामी विवेकानंद प्रेक्षागृह में पुण्यश्लोका देवी अहिल्याबाई होल्कर की त्रिशताब्दी समारोह बहुत ही हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। जिसमें कार्यक्रम की अध्यक्षता मारवाड़ी युवा संघ की अध्यक्षा प्रतिभा कनोडिया, विशिष्ट अतिथि जिला संघ चालक हर्ष अग्रवाल तथा कार्यक्रम के मुख्य वक्ता काशी प्रांत के प्रांत संघ चालक अंगराज रहे। कार्यक्रम के प्रारंभ में सर्वप्रथम मंचासीन अतिथिगण द्वारा पुण्यश्लोका देवी अहिल्याबाई होल्कर  की प्रतिमा पर पुष्प अर्पण किया तत्पश्चात एकल गीत के साथ कार्यक्रम का प्रारंभ हुआ। मुख्य वक्ता ने अपने उद्बोधन में कहा कि पुण्यश्लोका देवी अहिल्याबाई होल्कर  का जन्म वर्ष 31 मई 1725 को महाराष्ट्र राज्य के चौंढी नामक गांव (जामखेड, अहमदनगर) में हुआ था। वह एक सामान्य से किसान की पुत्री थी। वह इंदौर राज्य की पुत्रवधू थी तथा परम शिव भक्त थी उन्होंने टकसाल बनवाया जिस पर शिव भगवान व नंदी ग्राम चित्र छपा था। राज्य की संपूर्ण प्रजा उन्हें देवी कहकर पुकारती थी। सती प्रथा का उन्होंने विरोध किया था और बद्रीनाथ से रामेश्वरम द्वारिका नाथ भुवनेश्वर तक सभी तीर्थ धर्मशाला का पुनर्निर्माण किया। वह न्याय प्रिय थी। उन्होंने कानून में परिवर्तन किया और विधवा स्त्रियों के संपत्ति उनको देने का निर्णय किया। उनके अंदर स्वदेशी का भाव था। उद्योग के प्रति उन्होंने काफी ध्यान दिया। उन्होंने स्वयं सहायता समूह महिलाओं से मिलकर चलवाया तथा अपने निजी कोष को से भी स्वयं सहायता समूह चलाया। कर का निर्धारण कराया तथा कर की वसूली करने के लिए सरलीकरण नियम बनाया उन्होंने प्रशस्ति पत्र स्वीकार नहीं किया और प्रशस्ति पत्र को नर्मदा नदी में प्रवाहित कर दिया। उनको हमेशा से एक बहादुर, आत्मनिष्ठ, निडर महिला के रूप में याद किया जाता है। ये अपने समय की सर्वश्रेष्ठ योद्धा रानियों में से एक थीं, जो अपनी प्रजा की रक्षा के लिए हमेशा तैयार रहती थीं. इतना ही नहीं उनके शासन काल में मराठा मालवा साम्राज्य ने काफी ज्यादा नाम कमाया था। जनहित के लिए काम करने वाली महारानी ने कई हिंदू मंदिर का निर्माण भी करवाया था, जो आज भी पूजे जाते हैं। कुशल प्रशासन एवं रणचंडी के रूप में लगातार 30 वर्ष तक शासन किया। माता अहिल्याबाई की न्याय प्रियता, कार्य कुशलता, कुशल प्रशासक व समाजसेवा और उनके चारित्रिक गुणो को जन-जन तक पहुंचना चाहिए। कार्यक्रम का सफल संचालन जिला कार्यवाह बृजेश सिंह सिंह ने किया। कार्यक्रम में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के विभाग प्रचारक श्रीमान उपेंद्र, जिला प्रचारक राहुल, संयोजक नीरज, नगर कार्यवाह महेश, व्यवस्था प्रमुख कीर्तन, प्रचार प्रमुख नीरज, कृष्ण प्रताप, कृष्ण कुमार, संगम, प्रमोद, कृष्ण मुरारी गुप्ता, बलराम सोनी, अखिलेश, चित्रा जालान, पुष्पा सिंह आदि उपस्थित रहे।

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