FY23-24 की पहली छमाही में बिजली खपत 8% बढ़कर 847 अरब यूनिट पर पर पहुँची।।

इंडस्ट्री एक्सपर्ट्स का कहना है कि अप्रैल, मई और जून में बेमौसम बारिश ने बिजली की खपत को प्रभावित किया है। ऐसा नहीं होता तो देश में इसकी ग्रोथ डबल डिजिट में हो सकती थी। उन्होंने कहा कि अगस्त में उमस के कारण बिजली की मांग के साथ खपत में सुधार हुआ

मौजूदा वित वर्ष मे भारत की बिजली खपत मे 8 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है। यह बढ़कर अब 847 अरब युनिट हो गई है। माना जा रहा है कि यह खपत देश की आर्थिक गतिविधियों मे लगातार हो रहे बढ़ोतरी के कारण दर्ज की गई है। एक अधिकारिक आकड़ो से पता चला है कि चालु वित वर्ष 2023-24 की पहली छ माही यानि कि अप्रेल से लेकर सितंबर तक बिजली खपत बढकर 847 अरब युनिट हो गई है जो कि पिछले वित वर्ष के इसी अवधि मे यह खपत 786 अरब युनिट थी।

इस पर इंडस्ट्री एक्सपर्ट का कहना है

बढ़ते बिजली खपत को लेकर इंडस्ट्रीज एक्सपर्ट का कहना है कि अप्रैल, मई और जून में बैमौसम बारिश ने बिजली के खपत प्रभावित किया है। अगर ऐसा नही होता तो इसकी ग्रोथ डबल डिजिट मे होता। उन्होंने कहा है कि अगस्त के महीने में उमस के कारण बिजली की मांग के साथ खपत मे भी सुधार हुआ। यह कारण भी था जो कि अगस्त और सितंबर मे बिजली की खपत बढी।

आंकड़ों से यह भी पता चलता है कि अप्रैल और सितंबर 2023 के बीच मे बिजली के अधिकतम मांग 241 गीगावॉट के रिकार्ड स्तर पर पहुँच गई। 2022-23 के पहली छमाही मे यह मांग 215.88 गीगावॉट था।