रेलवे प्रशासन इन मांगों पर गंभीरता से विचार नहीं करता है, तो वे जन आंदोलन की राह पर भी जा सकते हैं: शाद
फारबिसगंज ।
फारबिसगंज जंक्शन पर नागरिक संघर्ष समिति फारबिसगंज ने एक दिवसीय सांकेतिक धरना का आयोजन किया। यह धरना प्लेटफॉर्म संख्या 01 पर समिति के अध्यक्ष शाहजहां शाद की अध्यक्षता में आयोजित हुआ, जिसका सफल संचालन गुड्डू अली ने किया। धरने का मुख्य उद्देश्य शहर के बीचो-बीच रेलवे लाइन गुजरने के कारण उत्पन्न होने वाली समस्याओं की ओर प्रशासन का ध्यान आकर्षित करना था।
धरने का उद्देश्य और समस्याएं
धरने के दौरान अध्यक्ष शाहजहां शाद ने कहा, “शहर के बीचों-बीच रेलवे लाइन के गुजरने के कारण प्रतिदिन अधिकांश समय रेलवे फाटक बंद रहते हैं, जिससे आम जनमानस को भारी असुविधा का सामना करना पड़ता है। इस कारण से न केवल यातायात प्रभावित होता है, बल्कि जाम की समस्या भी उत्पन्न होती है, जो शहरवासियों के लिए परेशानियों का कारण बनती है।”
उन्होंने बताया कि विशेष रूप से रेल गुमटियों के बंद होने से शहर में जाम की स्थिति बन जाती है, और फिर जब अगले ट्रेन के आने के बाद ये समपार बंद होते हैं, तो स्थिति और खराब हो जाती है। इससे ना केवल शहरवासियों को परेशानी होती है, बल्कि रेल संचालन भी प्रभावित होता है। इस समस्या का समाधान हेतु आज इस सांकेतिक धरने का आयोजन किया गया है।
समिति की मांगें
समिति ने रेलवे प्रशासन से निम्नलिखित मांगें रखी हैं, ताकि शहर में जाम की समस्या को कम किया जा सके और ट्रेनों के समय पर परिचालन को सुनिश्चित किया जा सके:
- पटेल चौक स्थित L.C.-K.J.63 के पास एक अंडरपास का निर्माण किया जाए, जो सदर रोड से अस्पताल रोड के बीच जोड़े।
- ज्योति सिनेमा के पास L.C.-K.J.64 पर एक लाइट फुटओवरब्रिज का निर्माण किया जाए, जिससे मोटरसाइकिल, सिटी रिक्शा, ठेले और पैदल यात्री सुरक्षित रूप से आवाजाही कर सकें।
- वर्तमान L.C.-K.J. 64 के गेट की चौड़ाई बढ़ाई जाए और रास्ते का उन्नतीकरण किया जाए ताकि ट्रेन के आने और जाने के दौरान यातायात में अधिक रुकावट न हो।
- सुभाष चौक पर I.C.-K.J.65 पर एक उच्चस्तरीय आर.ओ.बी. (R.O.B.) का निर्माण किया जाए, ताकि सभी दिशाओं से जाने वाली यातायात को सुगमता से संचालित किया जा सके।
समिति का संदेश
धरने के दौरान समिति ने यह भी कहा कि यदि रेलवे प्रशासन इन मांगों पर गंभीरता से विचार नहीं करता है, तो वे जन आंदोलन की राह पर भी जा सकते हैं। समिति का मानना है कि यदि इन सुझावों को लागू किया जाता है, तो न केवल जाम की समस्या हल होगी, बल्कि रेल परिचालन में भी सुधार होगा और शहरवासियों को बड़ी राहत मिलेगी।
समिति ने इस शांतिपूर्ण प्रदर्शन के माध्यम से प्रशासन का ध्यान इस महत्वपूर्ण समस्या पर आकर्षित किया और उम्मीद जताई कि उनकी मांगों पर जल्द ही कार्यवाही की जाएगी।