गलगलिया के इंडो – नेपाल के मेची नदी में श्रद्धालुओं ने अस्तलचलगामी सूर्य को दिया अर्ध्य !!



दैनिक समाज जागरण
गलगलिया(किशनगंज) ।  कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि को लोक आस्था का महान पर्व छठ के तीसरे दिन गलगलिया के इंडो नेपाल सीमा पर दोनों देशों के श्रद्धालुओं के संध्या अर्ध्य के साथ संपन्न हो गया । इस दौरान भारत नेपाल की मैत्री एवं बेटी रोटी का संबंध स्पष्ट रूप से देखने को मिला । डूबते सूर्य को अर्घ्य देने के लिए व्रती और उनके परिजन अपने घरों से पूजा सामग्रियों के साथ घाटों पर पहुंच गए थे। घुटने तक पानी में उतर कर, पूजा सामग्रियों से भरे सूप हाथों में लिए व्रतियों ने डूबते सूर्य को पूरी श्रद्धा के साथ पहला अर्घ्‍य दिया। घुटने तक पानी में खड़े होकर व्रतधारियों ने सूप, बांस की डलिया में सन्तरा , गन्ना सहित पूजन सामग्री और गाय के दूध से डूबते सूर्य को अर्घ्य दिया और अपने सुख समृद्धि की कामना की। सोमवार को उदीयमानन भगवान भास्कर को अर्ध्य देकर अपने जीवन में सुख-शांति व समृद्धि की कामना की।

बताते चले कि इंडो नेपाल सीमा पर प्रवाहित इस मेची नदी पर दोनों देश के छठ व्रती द्वारा वर्षो से भब्य एवं शांति पूर्ण तरीके से लोक आस्था का महान पर्व छठ मनाया जाता है । मद्देनजर दोनो देशो के विभिन्न संगठनों एवं श्रध्दालुओं द्वारा घाट की तैयारी जैसे रास्ता, पंडाल, लाइट, हेल्प डेस्क आदि एक दिन पूर्व ही पूरी कर ली गई थी। दोनो देशो के बीच मैत्री एवं बेटी रोटी के संबंध को देखते हुए स्थायी पुल होने के बावजूद नेपाल प्रशासन द्वारा अस्थायी चचरी पुल का भी निर्माण किया गया ताकि दोनो देश के श्रध्दालु दोनो तरफ आ जा सके ।
विदित हो कि बिहार, बंगाल और नेपाल के संगम पर प्रवाहित इस मेची नदी पर काफी संख्या में एवं दूर -दूर से श्रध्दालु यहाँ के छठ देखने एवं मनाने के लिए आते हैं । मद्देनजर यहां भब्य मेला का आयोजन दोनो देशो के लोगो के द्वारा किया जाता है जिसमे विभिन्न तरह की स्टॉल लगाई जाती है साथ ही विभिन्न सामाजिक संगठनों द्वारा मुफ्त चाय -कॉफी , पानी , प्राथमिक उपचार आदि की स्टाल लगाई जाती है । वहीं घाट पर छठ मइया की प्रतिमा भी स्थापित की गई थी , जिसके दर्शन हेतु श्रध्दालुओ की भीड़ उमड़ पड़ी थी , जहाँ भारी संख्या में श्रध्दालुओ  को श्रध्दा से दान करते देखा गया।

पूर्व अनुमानित भीड़ को देखते हुए दोनो देशो द्वारा सुरक्षा  के भी पुख्ते इंतजाम किए गए थे । नेपाल की ओर से नेपाल पुलिस एवं  ए पी एफ और भारत की ओर से एस एस बी एवं गलगलिया थाना पुलिस के सुरक्षा कर्मी चप्पे चप्पे पर नजर बनाई हुई थी। कल सप्तमी तिथि को उषा अर्ध्य के साथ लोक आस्था का महान पर्व छठ का समापन हो जाएगा ।

फ़ोटो कैप्शन :- गलगलिया के इंडो-नेपाल सीमा पर अवस्थित मेची नदी छठ घाट पर संध्या अर्घ्य देते छठ व्रती ।