प्रेमिका आरती के घरवाले अब अब रहेंगे जेल में ,8 दोषी को उम्र कैद के साथ-साथ 10-10 हजार रुपये के जुर्माने भी
अररिया/डा. रूद्र किंकर वर्मा।
अररिया अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश चतुर्थ रवि कुमार की अदालत ने मंगलवार को बहुचर्चित आरती-छोटू लव स्टोरी में छोटू कुमार की नृशंस हत्या के मामले में आठ दोषियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई।
बता दें कि अररिया में जुलाई 2022 में हुई छोटू कुमार की हत्या के मामले में प्रेमिका आरती के घरवालों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई। छोटू के पिता, उमेश यादव, ने मामला दर्ज कराया था। आरती, अपने प्रेमी को न्याय दिलाने के लिए अपने घरवालों के खिलाफ हो गई थी। कोर्ट ने आज आरती के पिता, भाई जीजा सहित 8 लोगों को उम्रकैद की सजा सुनाई।
सजा पाने वालों में प्रेमिका आरती के घर वाले हैं, जिनमें निर्भय यादव, धीरेंद्र यादव, रविकांत यादव, शशिकांत यादव, रूबी देवी, पवन यादव, मिथिलेश यादव, चंदन यादव हैं। कोर्ट ने सभी दोषियों को आजीवन कारावास के साथ-साथ 10-10 हजार रुपये के जुर्माने की सजा भी अपने फैसले में सुनाई है। जुर्माने की राशि की अदायगी नहीं करने पर 6 महीने की अतिरिक्त सजा का आदेश दिया है।
जुलाई 2022 को हुई थी प्रेमी छोटू की हत्या
कोर्ट ने यह फैसला रानीगंज थाना में दर्ज केस में दिया है। इसमें शिकायतकर्ता मृतक छोटू कुमार के पिता उमेश यादव खुद थे। छोटू कुमार की प्रेम प्रसंग में 6 जुलाई 2022 को हत्या हुई थी। बरहुआ वार्ड संख्या चार स्थित धीरेंद्र यादव के आवासीय घर में छोटू को बंद कर लाठी-डंडा और लोहे की रॉड से पीटा और फिर बिजली का करंट लगाकर हत्या कर दी थी। घटना के बाद छोटू की प्रेमिका आरती ही प्रेमी को न्याय दिलाने के लिए परिवार के खिलाफ हो गई थी। यह मामला राष्ट्रीय स्तर पर सुर्खियों में था।
मामले में सरकार की ओर से अपर लोक अभियोजक प्रभा कुमारी ने निर्मम हत्या के लिए फांसी की सजा की कोर्ट से मांग की। जबकि बचाव पक्ष की ओर से वरीय अधिवक्ता देवनारायण सेन और मुजाहिद हुसैन ने कोर्ट से कम से कम सजा देने की गुहार लगाई।
ये है पूरा मामला
दरअसल मामला रानीगंज थाना क्षेत्र के दो गांव बरहुआ और रहरिया से जुड़ा है। दोनों गांव के बीच 35 किलोमीटर की दूरी है। बरहुआ गांव के धीरेंद्र यादव की 19 साल की बेटी आरती और रहरिया गांव के 22 साल के छोटू यादव के बीच फोन पर बातचीत शुरू हुई। बातचीत प्रेम प्रसंग में बदल गई। दोनों की बात शादी तक पहुंच गई थी। छोटू हत्याकांड के बाद आरती ने मुखर होते हुए कहा था कि उसके परिवार वालों को दोनों के प्रेम प्रसंग की बात पता चल गई थी। उसके घरवालों ने शादी के लिए छोटू को फोन करके बुलाया। छोटू आया तो उसे एक कमरे में बंद कर दिया था। रातभर बुरी तरह छोटू की पिटाई की और फिर बिजली का करंट लगाकर हत्या कर दी।
छोटू के साथ हुए नृशंसता का अनुमान इसी से लगाया जा सकता है कि आरोपितों ने उनके हाथ पैर के नाखून तक उखाड़ दिए थे। मामले में प्रेमिका आरती ने अपने जीजा, भाई और पिता पर हत्या का सीधा आरोप लगाया था। छोटू के दाह संस्कार में भी आरती शामिल हुई थी। छोटू की मौत के बाद अपने घर में न रहकर छोटू के घर पर ही रह रही है।