परमहंसी, गोटेगांव गौ माता की रक्षा के पुनीत उद्देश्य से परमहंसी, गोटेगांव से एक ऐतिहासिक पदयात्रा का शुभारंभ हो गया है, जो 33 दिनों में देश की राजधानी दिल्ली पहुंचेगी। यह पदयात्रा जगद्गुरु शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद जी महाराज के पावन मार्गदर्शन में चल रही है और करपात्री जी महाराज के अथक प्रयासों से शुरू हुए गौ रक्षा आंदोलन को एक नई गति प्रदान करने वाली है। इस आंदोलन का मुख्य नारा है, “अब समय मुर्दों को भी जगाने का है,” जो देशवासियों को गौ रक्षा के पुनीत कार्य में जागृत होने का आह्वान कर रहा है।
यह पदयात्रा केवल एक शारीरिक यात्रा नहीं, बल्कि गौ माता के प्रति जनमानस में चेतना जगाने का एक सशक्त माध्यम है। पदयात्रा में देश के विभिन्न कोनों से संत-महात्मा, समाज सेवी और गौ भक्त शामिल होकर अपनी श्रद्धा और समर्पण का परिचय दे रहे हैं।
इस पदयात्रा का मूल उद्देश्य गौ हत्या पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने और गौ संरक्षण को राष्ट्रीय प्राथमिकता बनाने के लिए सरकार और समाज पर दबाव बनाना है। पदयात्रा के माध्यम से गौ माता के महत्व, उनके वैज्ञानिक, धार्मिक और आर्थिक लाभों के बारे में जन-जन को जागरूक किया जाएगा। आयोजकों का मानना है कि गौ माता की रक्षा केवल धार्मिक आस्था का विषय नहीं, बल्कि राष्ट्र की समृद्धि और पर्यावरण संतुलन के लिए भी अत्यंत आवश्यक है।