संजीव मिश्रा को मिलेगा अंतरराष्ट्रीय मंच पर सम्मान, नेपाल-भारत संबंधों को मिलेगा नया आयाम
विराटनगर/छातापुर ।
मिथिला और मैथिली के सम्मान को वैश्विक मंच पर नई पहचान मिलने जा रही है। पैनोरमा ग्रुप के सीएमडी संजीव मिश्रा को मैथिली एसोसिएशन नेपाल द्वारा आयोजित प्रतिष्ठित मैन इंटरनेशनल अवार्ड-2024 समारोह में विशेष अतिथि के रूप में आमंत्रित किया गया है। यह महत्वपूर्ण आयोजन 30 नवंबर 2024 को नेपाल के विराटनगर स्थित होटल स्वागतम में सुबह 11:00 बजे से शुरू होगा। इस कार्यक्रम में नेपाल और भारत के शीर्ष व्यक्तित्वों को सम्मानित किया जाएगा, जिन्होंने समाज, कला, संस्कृति और विभिन्न क्षेत्रों में अद्वितीय योगदान दिया है।
संजीव मिश्रा का अंतरराष्ट्रीय मंच पर सम्मान
संजीव मिश्रा का इस आयोजन में विशेष अतिथि के रूप में चयन न केवल उनकी व्यक्तिगत उपलब्धि का प्रतीक है, बल्कि यह समूचे मिथिला और मैथिली समाज के लिए गर्व का क्षण है। संजीव मिश्रा, जो हमेशा मिथिला और मैथिली समाज के उत्थान के लिए समर्पित रहे हैं, का इस मंच पर सम्मान मिलना एक ऐतिहासिक क्षण है। यह सम्मान मिथिला की सांस्कृतिक धरोहर और मैथिली भाषा की वैश्विक पहचान के लिए मील का पत्थर साबित होगा।
समारोह का उद्देश्य और महत्व
इस भव्य समारोह का उद्देश्य नेपाल और भारत के बीच सांस्कृतिक, पेशेवर और सामाजिक संबंधों को प्रगाढ़ बनाना है। मैथिली एसोसिएशन नेपाल ने इस आयोजन के माध्यम से दोनों देशों के बीच आपसी सहयोग और सम्मान को बढ़ावा देने का संकल्प लिया है। कार्यक्रम में उन व्यक्तित्वों को सम्मानित किया जाएगा, जिन्होंने समाज के विभिन्न क्षेत्रों में योगदान दिया है और दोनों देशों के सांस्कृतिक रिश्तों को मजबूत किया है।
समारोह में शामिल होने वाले विशिष्ट अतिथि और सम्मानित व्यक्तित्व इस आयोजन को और भी गरिमामयी बनाएंगे। यह एक ऐसा मंच होगा जहां नेपाल और भारत के समाज के विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट कार्य करने वाले व्यक्तित्वों से मिलने और उनके योगदान को समझने का अवसर मिलेगा।
मुख्य प्रायोजक और आयोजक
क्लाउड फर्स्ट डिसरप्टिव इनोवेशन इस कार्यक्रम के मुख्य प्रायोजक के रूप में जुड़े हुए हैं, जबकि आयोजन का संचालन मैथिली एसोसिएशन नेपाल द्वारा किया जा रहा है। यह आयोजन दोनों देशों के बीच सांस्कृतिक और पेशेवर सहयोग को बढ़ावा देने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है।
संजीव मिश्रा का इस प्रतिष्ठित समारोह में सम्मानित होना न केवल उनके लिए, बल्कि पूरे मिथिला और मैथिली समाज के लिए गर्व का विषय है। इस कार्यक्रम के जरिए मिथिला और मैथिली समाज की सांस्कृतिक और सामाजिक धरोहर को अंतरराष्ट्रीय मंच पर पहचान मिल रही है। यह आयोजन दोनों देशों के रिश्तों को और मजबूत करेगा और भविष्य में दोनों देशों के बीच सांस्कृतिक, पेशेवर और सामाजिक सहयोग की नई राह खोलेगा।