प्रधानमंत्री किसान समृद्धि केंद्रों (पीएमकेएसके) किसानों के जीवन में ला रहा बदलावनैनो यूरिया के उपयोग से उपज भी बढ़ रहा और लागत भी हो रहा कम

समाज जागरण वाराणसी ब्यूरो

प्रधानमंत्री किसान समृद्धि केंद्रों (पीएमकेएसके) के माध्यम से किसानों को उचित मूल्य पर यूरिया, डीएपी, एनपीके, मिट्टी की जांच, कृषि यंत्र उपलब्ध कराने के अलावा नैनो यूरिया, डीएपी, सागरिका, जैव उर्वरक, कीटनाशक, खर पतवार नाशक और उच्च किस्म के बीज के साथ तकनीकी वार्ता की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। यह केंद्र किसानों को उचित मूल्य व सुविधाजनक तरीके से कृषि सामग्री उपलब्ध करा रहा है जिससे उनकी आय में भी वृद्धि हो रही है। यह बातें पत्रकारों की किसानों के साथ बातचीत से निकलकर सामने आई। पत्रकारों का एक दल गुरुवार को पत्र सूचना कार्यालय, वाराणसी की ओर से आयोजित प्रेस टूर के तहत रामनगर स्थित प्रधानमंत्री किसान समृद्धि केंद्र का भ्रमण किया।
पीएमकेएसके, रामनगर पर मौजूद इफ्को, वाराणसी के फील्ड ऑफिसर डा.विवेक दीक्षित ने बताया कि
प्रधानमंत्री किसान समृद्धि केंद्र (पीएमकेएसके) वन-स्टॉप-शॉप केंद्रों के रूप में कार्य कर रहे हैं। इसके माध्यम से किसानों को एक ही स्थान पर मिट्टी/बीज/उर्वरक/कीटनाशक और कृषि मशीनरी सहित कई कृषि-इनपुट सुविधाएं मिल रही हैं। वाराणसी जिले में रामनगर सहित राजा तालाब में भी एक उच्च स्तर का केंद्र स्थापित हो चुका है इसके अलावा कई अन्य केंद्रों की भी स्थापना तेजी से हो रही है। उन्होंने बताया कि रामनगर स्थित केंद्र से लाभ वाराणसी, मिर्जापुर और चंदौली के हजारों किसान ले रहे हैं। इससे उनके कृषि कार्य की लागत क्षमता में कमी आई है और साथ ही उनके आय में वृद्धि हो रही है।
उन्होंने कहा कि इस केंद्र के माध्यम से इफ्को बड़ी मात्रा में उर्वरक, नैनो यूरिया, विशेष पोषक उर्वरकों का उपयोग और पोषक तत्व आधारित शुद्ध जैविक उर्वरकों का उपयोग करके मिट्टी के स्वास्थ्य में सुधार करके किसानों को हर तरह से सेवा करने के लिए लगातार काम कर रहा है।  भारत सरकार की प्रधानमंत्री किसान समृद्धि योजना किसानों की आय बढ़ाने में बहुत सहायक है। नैनो यूरिया कम लागत में अधिक उत्पादन करने का माध्यम है। इसके लाभ के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा कि यूरिया से भरी एक बोरी का स्‍थान अब नैनो यूरिया की एक बोतल ले सकती है। इससे यूरिया की परिवहन लागत में भी काफी कमी आ रही है।
केंद्र पर मौजूद विशेषज्ञों ने उपलब्ध नैनो डीएपी तरल, सागरिका, नियो स्प्रेयर, तरल कंसोर्टियम सहित अन्य उत्पाद के महत्व के बारे में बताया। 
पत्र सूचना कार्यालय, वाराणसी के मीडिया एवं संचार अधिकारी प्रशांत कक्कड़ ने कहा कि प्रधानमंत्री ने हमेशा कृषि क्षेत्र के लिए ‘समग्र दृष्टिकोण’ के साथ काम किया है और सरकार द्वारा किसानों को मजबूत बनाने के लिए कई पहल की गई हैं। प्रधानमंत्री ने जय जवान, जय किसान, जय विज्ञान और जय अनुसंधान का नारा दिया है जिसका जीवंत रूप पीएमकेएसके के माध्यम से देखने को मिल रहा है। यह केंद्र किसानों को उर्वरक तो उपलब्ध करा ही रहा है, साथ ही  देश के किसानों के साथ एक गहरा संबंध स्थापित करने के लिए एक तंत्र भी विकसित कर रहा है। उन्होंने पीएमकेएसके के सहारे किसानों से गुणवत्तापूर्ण उर्वरकों के उपयोग के साथ-साथ मिट्टी परीक्षण और कृषि विस्तार जैसी सेवाओं का लाभ उठाने की अपील की। 

पृष्ठभूमि
प्रधानमंत्री ने अक्टूबर 2022 में रसायन एवं उर्वरक मंत्रालय के तहत 600 प्रधानमंत्री किसान समृद्धि केंद्रों (पीएमकेएसके) का उद्घाटन किया था। इस योजना के तहत देश में खुदरा खाद की दुकानों को चरणबद्ध तरीके से पीएमकेएसके में बदला जाएगा। पीएमकेएसके किसानों की विभिन्न प्रकार की जरूरतों को पूरा करेंगे और कृषि सामग्री (उर्वरक, बीज, उपकरण), मिट्टी, बीज और उर्वरकों के लिए परीक्षण सुविधाएं प्रदान करेंगे; किसानों के बीच जागरूकता पैदा करेंगे; विभिन्न सरकारी योजनाओं के बारे में जानकारी प्रदान करेंगे और ब्लॉक/जिला स्तर के आउटलेट पर खुदरा विक्रेताओं का नियमित क्षमता निर्माण सुनिश्चित करेंगे। 3.3 लाख से ज्यादा खुदरा उर्वरक दुकानों को पीएमकेएसके में बदलने की योजना है।