पटना के मुर्गी फॉर्म में आग लगने से पांच लाख का नुकसान

समाज जागरण पटना जिला संवाददाता:- वेद प्रकाश

पटना/ बिहार के पटना जिले के फतुहा थाना क्षेत्र के जनार्दनपुर गांव में एक दिल दहलाने वाली घटना सामने आई है। बुधवार की देर रात असामाजिक तत्वों ने एक मुर्गी फार्म में आग लगाकर भारी नुकसान पहुंचाया। इस आगजनी में 1,200 चूजे जलकर मर गए, जिससे फार्म संचालक कुंदन कुमार को लगभग पांच लाख रुपये का नुकसान हुआ। घटना के समय कुंदन कुमार की मां फार्म के ऑफिस में सो रही थीं। इसी दौरान छह-सात की संख्या में बदमाश फार्म में घुस आए। उन्होंने कुंदन की मां को बंधक बनाकर उनके गहने—कान की बाली और सोने की चेन—लूट लिए। इसके साथ ही बदमाश डेढ़ लाख रुपये नकद भी ले गए। इसके बाद फार्म के चारों तरफ पेट्रोल छिड़ककर आग लगा दी। आग इतनी भीषण थी कि पूरे फार्म में फैल गई, जिससे 1,200 चूजे जिंदा जलकर राख हो गए। इस आगजनी के कारण करीब पांच लाख रुपये का नुकसान हुआ। फार्म से उठती आग की लपटों को देखकर स्थानीय ग्रामीण मौके पर पहुंचे और अपने स्तर से आग बुझाने की कोशिश की। इस बीच, घटना की सूचना पुलिस और फायर ब्रिगेड को दी गई। घटना की जानकारी मिलते ही फायर ब्रिगेड और पुलिस की टीम मौके पर पहुंची और आग पर काबू पाया। हालांकि, तब तक फार्म को भारी नुकसान हो चुका था। थाना अध्यक्ष रूपक कुमार अंबुज ने बताया कि इस मामले को गंभीरता से लिया जा रहा है। प्राथमिक जांच में पता चला है कि बदमाशों के साथ फार्म मालिक का पहले से विवाद चल रहा था। परिजनों की ओर से थाने में आवेदन दिया गया है, और पुलिस आरोपियों की तलाश में जुटी है। इस घटना के बाद जनार्दनपुर गांव में लोगों के बीच आक्रोश व्याप्त है। स्थानीय ग्रामीणों का कहना है कि बदमाशों की बढ़ती हरकतें चिंता का विषय बन गई हैं। लोग इस घटना को लेकर पुलिस प्रशासन से सख्त कार्रवाई की मांग कर रहे हैं। इस घटना ने न केवल फार्म संचालक कुंदन कुमार को आर्थिक रूप से प्रभावित किया है, बल्कि स्थानीय स्तर पर मुर्गी पालन जैसे छोटे व्यवसायों की सुरक्षा को लेकर सवाल खड़े कर दिए हैं। मुर्गी फार्म व्यवसाय से जुड़े लोग अब अपनी सुरक्षा को लेकर चिंतित हैं। यह घटना अपराध और असामाजिक तत्वों की बढ़ती घटनाओं का एक गंभीर उदाहरण है। स्थानीय प्रशासन और पुलिस को चाहिए कि इस मामले की गहराई से जांच करें और दोषियों को कड़ी सजा दें। इसके साथ ही छोटे व्यवसायियों को सुरक्षित वातावरण प्रदान करने के लिए ठोस कदम उठाए जाएं। ऐसी घटनाओं से न केवल लोगों का आर्थिक नुकसान होता है, बल्कि उनका मनोबल भी टूटता है।

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