प्रांगण रंगमंच ने दिवाली के अवसर पर विशेष रसोई का भव्य आयोजन

मधेपुरा/डा. रूद्र किंकर वर्मा।

दिवाली के पावन पर्व पर प्रांगण रंगमंच ने सोमवार को एक विशेष रसोई का आयोजन किया, जिसका उद्देश्य जरूरतमंद लोगों को भोजन उपलब्ध कराना था। इस आयोजन में युवा समाजसेवी दीपक कुमार ने अपने जन्मदिन के उपलक्ष्य में योगदान देते हुए सभी का दिल जीत लिया।

समाजसेवी दीपक कुमार का प्रेरणादायक कदम

दीपक कुमार ने अपने जन्मदिन को विशेष बनाने का फैसला करते हुए प्रांगण रसोई में आम लोगों के साथ मिलकर उत्सव मनाने का निर्णय लिया। बड़ी दुर्गा स्थान पर आयोजित इस कार्यक्रम में बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए, जिन्होंने न केवल स्वादिष्ट भोजन का आनंद लिया, बल्कि दीपक के इस नेक इरादे की सराहना भी की। उन्होंने कहा, “यह मेरे लिए बहुत खास दिन है, और मैंने चाहा कि इस खुशी को उन लोगों के साथ बांटूं जो इसकी सबसे अधिक जरूरत महसूस करते हैं।”

भोजन वितरण और जरूरतमंदों की सहायता

प्रांगण रंगमंच ने मंदिर प्रांगण में भव्य भोजनोत्सव का आयोजन करने के बाद, एक सौ से अधिक फूड पैकेट जरूरतमंदों में वितरित किए। दीपक ने बताया कि इस पहल के माध्यम से उन्होंने अति जरूरतमंद लोगों को दीपावली की शुभकामनाएं दीं, जिससे वे भी इस त्योहार की खुशियों में शामिल हो सकें।

संस्थापकों की सोच और सामुदायिक जुड़ाव

इस आयोजन में प्रांगण रंगमंच के मैनेजिंग ट्रस्टी दिलखुश कुमार ने बताया कि संस्थान विशेष आयोजनों के तहत, केवल शनिवार को ही नहीं, बल्कि अन्य अवसरों पर भी लोगों को भोजन उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्ध है। “हमारा लक्ष्य समाज के हर वर्ग को एकजुट करना और उनके साथ त्योहार मनाना है,” उन्होंने कहा।

संस्थापक अध्यक्ष डॉ. संजय परमार ने दीपक कुमार के जन्मदिन को इस खास मौके पर यादगार बनाने के लिए सभी उपस्थित लोगों का आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा, “इस प्रकार के आयोजन समाज में भाईचारे और सहयोग की भावना को मजबूत करते हैं।”

गणमान्य व्यक्तियों की उपस्थिति

कार्यक्रम में कई गणमान्य लोग भी उपस्थित थे, जिनमें अमित आनंद, विक्की विनायक, जटाशंकर कुमार, लक्षी राज, अनीश, सोनू यादव, अक्षय कुमार और बाबू साहब शामिल थे। सभी ने मिलकर इस विशेष आयोजन को सफल बनाने में योगदान दिया।

प्रांगण रंगमंच का यह विशेष रसोई आयोजन केवल एक सामाजिक कार्य नहीं था, बल्कि यह एक प्रेरणा भी थी कि कैसे त्योहारों को केवल व्यक्तिगत खुशी के लिए नहीं, बल्कि समाज के साथ बांटने का माध्यम बनाना चाहिए। इस प्रकार के आयोजनों से न केवल लोगों की भलाई होती है, बल्कि यह समाज में एकता और सहयोग की भावना को भी बढ़ावा देता है।

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