विस्थापितों की समस्या को लेकर ग्राम प्रधान हीरालाल व मुकेश सिंह ने जिलाधिकारी को ज्ञापन सौपा

समाज जागरण

शक्तिनगर (सोनभद्र): उर्जांचल परिक्षेत्र के शक्तिनगर दौरे पर सोनभद्र जिलाधिकारी बी एन सिंह पहुंचे वही शक्तिनगर विस्थापितों की समस्या को लेकर चिल्काडाॅड़ के ग्राम प्रधान हीरालाल ने विस्थापित पुनर्वास कॉलोनी चिल्काडाॅड़ के संबंध में सोनभद्र जिलाधिकारी को ज्ञापन सौप कर समस्याओं से अवगत कराया की पुनर्वास कॉलोनी चिल्काडाॅड़ जो की एनटीपीसी सिंगरौली द्वारा विस्थापित कर 1977 में बसाया गया भूमि मकान अधिग्रहण करने के ऐवज में एनटीपीसी इकाई शक्तिनगर द्वारा घोषणा किया गया था की विस्थापित पुनर्वास कॉलोनी में सर्व सुविधा के तहत प्रत्येक विस्थापित सदस्य को नौकरी रोजगार के साथ-साथ गांव के विकास के लिए बिजली आपूर्ति साफ पानी की आपूर्ति, साफ सफाई, इलाज के लिए बेहतर चिकित्सा, स्कूल, सड़क परिवहन एवं उच्च शिक्षा और जीवन स्तर में सुधार करने जैसे कई लोक लुभावने वादे किए थे और आवश्यकता से ज्यादा जमीन का अधिग्रहण न्यूनतम दर से ले कर के फायदा लेने के उद्देश्य से उच्च दर पर एनसीएल व रेलवे को बेचा गया है जबकि चिल्काडाॅड़ में पुनर्वास के समय यहां की निवासी के लिए नहीं आवागवन की समस्या थी ना ही प्रदूषण की समस्या थी किंतु एनटीपीसी सिंगरौली की उदासीनता के कारण आज 45 वर्ष गुजरने के बावजूद भी समस्याएं बढ़ती जा रही हैं जैसे अधिकांश विस्थापितों को अभी तक प्लॉट न मिलाना, गांव में आवागमन के लिए आज तक एनटीपीसी द्वारा मुख्य मार्ग से जोड़ने के लिए कोई भी संपर्क मार्ग नहीं दिया गया है गांव की लगभग छः हजार की आबादी आज भी असुरक्षित वैकल्पिक मार्ग से आवागमन करने को मजबूर है,विस्थापित करते वक्त एनटीपीसी प्रबंधन को पता था कि जहां स्थापित किया जा रहा है वहां एनसीएल की कोयला खदान खुलेगी इसके बाद भी विस्थापन कर दिया गया है जिसका परिणाम है कि प्रदूषित हवा एवं जल में पर आर्सेनिक फ्लोराइड इत्यादि के खुले होने के कारण विस्थापित परिवारों में विभिन्न प्रकार की गंभीर बीमारियां पैदा हो रही है वही पर प्रदेश सचिव समाजवादी मजदूर सभा उत्तर प्रदेश के मुकेश सिंह ने क्षेत्रीय जन समस्याओ और मूल भूत सुविधाओं से वंचित लोगों के बारे मे अवगत करते हुए बताया कि एनटीपीसी एनसीएल परियोजनाओं में स्थानीय युवाओं को संविदा नौकरी में संयोजन की व्यवस्था हो जिसमें 60 से 70 प्रतिशत रोजगार मिले की बात लेकर पत्र सोपा गया।