विश्व साइकिल दिवस- आज भी बुजुर्ग- युवा साइकिल चलाने का शौक रखते हैं

साइकिल चलाने से स्वस्थ तन स्वस्थ मन अस्पताल जाने की आवश्यकता नहीं दुर्घटना की संभावना नहीं रहती

अमरकंटक । 3 जून 25 विश्व साइकिल दिवस मनाया जा रहा है साइकिल चलाने के कई फायदे हैं इससे व्यक्त पूरी तरह से फिट रहता है स्वस्थ तन स्वस्थ मन रहता है हाथ पैर के जोड़ों में दर्द नहीं रहता साइकिल से पर्यावरण भी बेहतर रहता है कोई प्रदूषण नहीं फैलता । साइकिल चलाने को लेकर बुजुर्ग एवं युवा सभी आज भी शौक रखते हैं उनका मानना है कि साइकिल चलाने से आदमी पूरी तरह स्वस्थ रहता है आजकल तो चिकित्सक की सलाह पर जिम में जाकर साइकिल चलाते हैं व्यायाम साला जाना पड़ता है साइकिल चलाने को लेकर लोगों में अपने-अपने विचार हैं लेकिन सभी का मतलब एक ही है ।
महेश महोबिया पिता मंगलू महोबिया उम्र 25 वर्ष निवासी वार्ड क्रमांक 7 बांधा अमरकंटक शिक्षा आईटीआई मोबाइल इलेक्ट्रॉनिक रिपेयरिंग का डेढ़ वर्ष का कोर्स किया है भाई छोटा है आठवीं कक्षा में अध्यनर छहत है अपना घर परिवार चलाता है। सात आठ माह से साइकिल रिपेयरिंग का कार्य करता है इससे उसे लगभग तीन हजार रुपए का काम कर लेता है लाभ के रूप में चार पांच सौ रू बच जाते हैं महीने में लगभग 15- 16 हजार रुपए कमा लेता है साइकिल में लगने वाला सामान लाकर बेचता है तथा बिगड़े साइकिल का समान लगाकर मरम्मत सुधार कर देता है दिन प्रतिदिन साइकिल का काम काम होता जा रहा है महेश महोबिया ने कहा कि साइकिल चलाना चाहिए इससे तन मन स्वस्थ रहता है आदमी प्रसन्न रहता है इससे खून का संचार बना रहता है और खून साफ रहता है उसने कहा कि वह स्वत: भी लगभग 10 किलोमीटर प्रत्येक दिन साइकिल चलाता है। महेश महोबिया का कहना है कि सभी को साइकिल चलाना चाहिए इससे मांस पेशियां घुटने बराबर काम करते हैं शरीर हष्ट पुष्ट स्वस्थ रहता है उसने आगे कहा कि मोटरसाइकिल के चलते काम काम आता है मोटरसाइकिल का भी काम कर लेता है। पिताजी राजमिस्त्री का काम करते हैं वह डिंडोरी जिले में रहकर प्रधान मंत्री आवास में काम कर रहे हैं तथा सीएम राइस स्कूल का काम चल रहा है उसमें काम कर रहे हैं।
पवित्र नगरी अमरकंटक वार्ड क्रमांक 6 बांधा बस्ती अमरकंटक के बलीराम केवट पिता बुद्ध सिंह केवट उम्र 73 वर्ष के नगर परिषद अमरकंटक के प्रथम अध्यक्ष एवं पार्षद रह चुके हैं आने जाने का कार्य साइकिल से ही करते हैं कहीं भी आते जाते हैं साइकिल से आते जाते हैं वह पूरी तरह के स्वस्थ हैं उन्होंने कहा कि साइकिल चलाने से मैं पूरी तरह तंदुरुस्त हूं नियमित वॉलीबॉल खेलते हूं आने जाने में खेलने में थकान नहीं होती हाथ पैर में दर्द नहीं होता बच्चों को आज भी वॉलीबॉल खेल सिखाते हैं वह स्वत है भी वॉलीबॉल के राष्ट्रीय स्तर के खिलाड़ी रह चुके हैं किसी तरह का नशा नहीं करते उन्होंने संदेश में कहा कि सभी को साइकिल चलाना चाहिए इससे अस्पताल जाने की नौबत नहीं आएगी । साइकिल चलाने से निरोगी काया रहेगी अस्पताल का चक्कर नहीं काटना पड़ेगा पर्यावरण प्रभावित नहीं होता । हाथ पैर की जोड़ो के दर्द से दूर रहेंगे ।
राजेश यादव पिता अमर लाल यादव निवासी वार्ड क्रमांक 6 गुम्मा घाटी अमरकंटक के मेहनत मजदूरी कर अपने परिवार का भरण पोषण करते हैं आना-जाना साइकिल से करते हैं राजेश यादव कहते हैं कि मेरे तंदुरुस्ती का राज साइकिल चलाना है मैं पूरी तरह से हष्ट पुष्ट हूं किसी तरह की कोई दिक्कत नहीं होती । पूरी तरीके से फिट फाट हूँ। राजेश यादव ने कहा कि मेरे पिता जी अमर लाल यादव नगर परिषद के उपाध्यक्ष रह चुके हैं वह भी साइकिल से दूध लाना ले जाना बेचने का काम करते थे आज भी पूरी तरह से स्वस्थ हैं प्रसन्न रहते है ।
आयुष मरावी पिता भगवान सिंह मरावी उम्र 16 वर्ष निवासी वार्ड क्रमांक 2 बराती अमरकंटक कक्षा नौवीं में पढ़ते हैं घर से विद्यालय आना जाना तथा बाजार सामान लेने के लिए साइकिल से आते जाते हैं नवयुवक आयुष मरावी ने कहा कि सभी को साइकिल चलाना चाहिए इससे आपको कभी भी रोग नहीं घेरेगा।
गेंद लाल यादव बब्बू पिता छोटे लाल यादव उम्र 33 वर्ष निवासी वार्ड क्रमांक 6 अमरकंटक के मुख्य मार्ग शॉपिंग सेंटर ए 7 में मोटरसाइकिल एवं साइकिल रिपेयरिंग का काम करते हैं साइकिल मरम्मत का बहुत काम आता है । बब्बू यादव ने कहा कि उनके पिताजी 30-35 वर्ष तक साइकिल मरम्मत का काम करते थे अब वृद्ध हो गए हैं इसलिए घर पर रहते हैं हम दो भाई टेक चंद यादव के साथ काम करते हैं अब साइकिल का जमाना नहीं रहा बहुत काम काम आता है फिर भी अमरकंटक में युवा बुजुर्ग लोग साइकिल शौकिया रूप में चलाते हैं साइकिल चलाना चाहिए इससे कभी बीमारी नहीं घेरती हमारे बुजुर्ग लोग साइकिल से ही आते जाते थे दूध बेचते थे ।

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