*यदि हम मनुष्य जन्म रहते भक्ति नहीं करेंगे तो 84 लाख योनियों का कष्ट उठाना पड़ेगा- संत रामपाल जी*



संवाददाता कमल सिंह लोधा
दैनिक समाज जागरण

गुना – संत रामपाल जी महाराज के अनुयायियों ने जिला स्तरीय सत्संग आयोजन रविवार को एलईडी टीवी के माध्यम सुबह 11 बजे से दोपहर 3 बजे तक किया गया | यह कार्यक्रम पानी की टंकी वाला रोड सियाराम कॉलोनी तहसील आरोन जिला गुना में किया गया | बड़ी संख्या में श्रद्धालु संत जी के मंगल प्रवचनो को सुनने के लिए पहुंचे |

संत रामपाल जी ने सत्संग में बताया कि मनुष्य जन्म का मुख्य उद्देश्य भक्ति करके भगवान के पास जाना है। यदि हम सतभक्ति नहीं करते तो इस मनुष्य के जीवन और पशु के जीवन में कोई अंतर नहीं है। यदि हम मनुष्य जन्म रहते भक्ति नहीं करेंगे तो फिर हमें कुत्ते आदि 84 लाख योनियों का कष्ट उठाना पड़ेगा। तथा भक्ति भी शास्त्र अनुकूल होना चाहिए अन्यथा वह भी व्यर्थ है क्योंकि श्रीमद्भागवत गीता के अध्याय 16 श्लोक 23 में कहा गया है कि जो पुरुष शास्त्र विधि को त्यागकर अपनी इच्छा से मनमाना आचरण करते हैं वह न सिद्धि को प्राप्त होता हैं न परम गति को और न सुख को ही।

संत रामपाल जी ने अपने सतसंग प्रवचनों में मानव समाज को मनुष्य जन्म के मुख्य उद्देश्य से परिचित कराया, पूर्ण परमात्मा की जानकारी बताई, सतभक्ति सतज्ञान सन्देश देते हुए समाज में फैली बुराईयों नशा, चोरी- जारी, रिश्वत- खोरी,ठगी, बेईमानी, दहेज आदि समस्त बुराइयों को छुड़ाने का संकल्प करवाया व जीवन में गुरु बनाकर भक्ति, दान धर्म करने के महत्व पर प्रकाश डाला। सत्संग में तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज जी के प्रवचन सुनकर सैंकड़ों लोग प्रेरित हुए और सर्व बुराई त्यागकर कई व्यक्तियों ने नामदीक्षा ग्रहण की।