टीबी मुक्त भारत का सपना: सही इलाज और जागरूकता से होगा साकार

जिला पदाधिकारी ने की समय पर जांच और इलाज की अपील

वीरेंद्र चौहान, समाज जागरण ब्यूरो किशनगंज।
19 दिसंबर। देश को वर्ष 2025 तक टीबी मुक्त बनाने के लक्ष्य को साकार करने के लिए जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग सक्रिय रूप से प्रयासरत हैं। जिलाधिकारी विशाल राज ने टीबी के इलाज और बचाव को लेकर लोगों को जागरूक करते हुए कहा, “टीबी एक गंभीर लेकिन पूरी तरह से इलाज योग्य रोग है। समय पर जांच और दवा का नियमित सेवन मरीजों को पूरी तरह ठीक कर सकता है। सभी नागरिक टीबी से बचाव और इसके इलाज के प्रति सजग रहें।”
टीबी से बचाव और इलाज के लिए जनजागरूकता अभियान

टीबी के बढ़ते मामलों को देखते हुए जिला प्रशासन ने स्वास्थ्य विभाग के साथ मिलकर विभिन्न जागरूकता अभियान शुरू किए हैं। सिविल सर्जन डॉ. राजेश कुमार ने बताया कि टीबी के मरीजों को 6 से 9 महीने तक लगातार दवा का सेवन करना जरूरी है। टीबी का इलाज अधूरा छोड़ने से यह और खतरनाक रूप ले सकता है। उन्होंने कहा, “स्वास्थ्य केंद्रों पर टीबी की जांच और दवाएं मुफ्त उपलब्ध हैं।”
टीबी के इलाज में उच्च प्रोटीनयुक्त आहार का महत्व

जिला यक्ष्मा नियंत्रण पदाधिकारी डॉ. मंजर आलम ने बताया कि टीबी के मरीजों को दवा के साथ संतुलित आहार लेने की भी सलाह दी जाती है। उच्च प्रोटीनयुक्त आहार से मरीज तेजी से स्वस्थ हो सकते हैं। इसके लिए निक्षय पोषण योजना के तहत हर महीने ₹1000 रुपए डीबीटी के माध्यम से मरीजों को प्रदान किए जा रहे हैं।सरकार द्वारा टीबी मरीजों के इलाज और पोषण का पूरा ख्याल रखा जा रहा है। निक्षय मित्रों की सहायता से 12 मरीजों को पोषण और चिकित्सा सेवा प्रदान की गई है।
टीबी के लक्षण पहचानें और समय पर इलाज कराएं

जिलाधिकारी विशाल राज ने टीबी के शुरुआती लक्षणों पर ध्यान देने और तुरंत जांच कराने की अपील की। उन्होंने कहा कि अगर दो हफ्ते से अधिक समय तक खांसी, बुखार, वजन कम होना, और रात में पसीना आने जैसे लक्षण हों, तो मरीज को तुरंत नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र पर जांच करानी चाहिए।”आइए, हम सब मिलकर 2025 तक टीबी मुक्त भारत का सपना साकार करें। अगर आपको या आपके आसपास किसी को टीबी के लक्षण दिखें, तो तुरंत जांच कराएं और इलाज शुरू करें।”
जन सहयोग से ही टीबी मुक्त भारत संभव

जिलाधिकारी ने यह भी कहा, “समाज के हर व्यक्ति को इस अभियान का हिस्सा बनना चाहिए। जागरूकता फैलाकर और समय पर इलाज सुनिश्चित कर हम किशनगंज को टीबी मुक्त जिला बना सकते हैं।